नई दिल्ली/पेरिस: एक बड़े घटनाक्रम में, फ्रांसीसी विमान निर्माता डसॉल्ट एविएशन (राफेल) के मुख्य कार्यकारी अधिकारी एरिक (राफेल) ट्रापिए ने पाकिस्तान के उस दावे को “पूरी तरह गलत” और “भ्रामक” बताया है जिसमें उसने कहा था कि उसने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारतीय वायुसेना के तीन राफेल लड़ाकू विमानों को मार गिराया। यह बयान तब आया जब सोशल मीडिया और कुछ अंतरराष्ट्रीय रिपोर्टों में पाकिस्तान के इस दावे को लेकर भारी चर्चा हो रही थी। आइए, इस पूरे घटनाक्रम की विस्तार से जानकारी लेते हैं।
पाकिस्तान का क्या दावा था?
कुछ दिन पहले पाकिस्तान ने दावा किया था कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान, जो कि भारत-पाकिस्तान के बीच हालिया सैन्य तनाव का हिस्सा था, उनकी वायुसेना ने 6 भारतीय लड़ाकू विमानों, जिनमें 3 राफेल जेट शामिल थे, को मार गिराया। इस दावे ने सोशल मीडिया पर काफी हलचल मचा दी थी। कई पोस्टों में यहां तक दावा किया गया कि इस खबर के बाद डसॉल्ट एविएशन (राफेल) के शेयर 1.84% से लेकर 3.3% तक गिर गए।

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हालांकि अब डसॉल्ट के CEO एरिक ट्रापिए ने स्वयं सामने आकर इन दावों को फर्जी और गुमराह करने वाला करार दिया है।
डसॉल्ट (राफेल) का आधिकारिक बयान
एरिक ट्रापिए ने एक फ्रांसीसी मीडिया चैनल को दिए अपने बयान में कहा,
“पाकिस्तान का यह दावा कि उसने तीन राफेल विमानों को गिराया, पूरी तरह से गलत है। हमारे पास भारत से इस प्रकार की कोई आधिकारिक जानकारी नहीं आई है जो इस दावे की पुष्टि करती हो।”
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि राफेल जेट्स तकनीकी रूप से अत्यंत उन्नत हैं और F-35 या चीनी विमान जैसे अन्य विमानों से इनकी तुलना करना भी अनुचित है, जैसा कि कुछ पोस्टों में किया जा रहा था।
उन्होंने यह जानकारी भी दी कि उन्हें केवल एक राफेल जेट के नुकसान की रिपोर्ट प्राप्त हुई है, लेकिन यह स्पष्ट नहीं है कि यह युद्ध में हुआ नुकसान है या किसी तकनीकी कारण से हुआ है। यह बयान पाकिस्तान के प्रचार प्रयासों को एक बड़ा झटका देता है, जो अंतरराष्ट्रीय मंच पर भारत की छवि को धूमिल करने की कोशिश कर रहा था।
ऑपरेशन सिंदूर क्या है?
ऑपरेशन सिंदूर के बारे में आधिकारिक जानकारी अभी भी सीमित है, लेकिन माना जा रहा है कि यह हाल ही में हुआ एक सैन्य अभियान था जिसमें भारत ने पाकिस्तान के कुछ लक्ष्यों पर हवाई हमले किए। इस अभियान के दौरान पाकिस्तान ने अपनी वायु रक्षा प्रणाली को सक्रिय रूप से प्रदर्शित किया, लेकिन डसॉल्ट (राफेल) के बयान ने उसके दावों की प्रामाणिकता पर प्रश्नचिह्न लगा दिया है।

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डसॉल्ट के शेयरों की स्थिति
पाकिस्तान के दावे के बाद कुछ रिपोर्टों में कहा गया कि डसॉल्ट एविएशन (राफेल) के शेयर 1.84% से लेकर 3.3% तक गिर गए। हालांकि यह भी संभव है कि बाजार में उतार-चढ़ाव के पीछे अन्य कारण हों। ट्रापिए के बयान के बाद निवेशकों का विश्वास दोबारा बहाल हो सकता है। यह वित्तीय पक्ष भी इस विवाद का एक महत्वपूर्ण पहलू है।
निष्कर्ष
डसॉल्ट एविएशन (राफेल) का यह स्पष्ट बयान न केवल पाकिस्तान के दावों को अस्वीकृत करता है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि भारतीय वायुसेना के राफेल जेट्स कितने श्रेष्ठ हैं। यह प्रकरण एक बार फिर यह सिद्ध करता है कि अंतरराष्ट्रीय संघर्षों में दुष्प्रचार और फर्जी जानकारी किस तरह से फैलाई जाती है। अब जबकि डसॉल्ट ने अपनी स्थिति स्पष्ट कर दी है, ध्यान अब भारत सरकार और भारतीय वायुसेना की आधिकारिक प्रतिक्रिया तथा ऑपरेशन सिंदूर से जुड़ी विस्तृत जानकारी पर केंद्रित होगा।
क्या आपको लगता है कि यह विवाद यहीं समाप्त होगा? हमें अपनी राय कमेंट में ज़रूर बताएं।
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